Monday 30 June 2014

90% NGO फर्जी ....
तमिलनाडु के कुडनकूलम में कुडनकूलम परमाणु परियोजना का greenpeace नामक NGO (non governmentol organization ) और बहुत से गैर सरकारी संगठनों द्वारा परियोजना का तीव्र विरोध किया गया था ।
आज पूरे देश में लगभग 20 लाख NGO चल रहे हैं जिनमें 90% NGO फर्जी हैं ।इनका एक ही लक्ष्य है देश में चल रहे विकास कार्यों का विरोध करना ..
आँकड़े बताते हैं कि जिस देश में 943 लोगों पर 1पुलिसकर्मी , 1700 लोगों पर 1 डाक्टर है ,वहीँ 600 लोगों पर एक NGO है ।
2013 में विदेशों से मिलने वाली सहायता में से अकेले अमेरिका ने 4050 करोड़ रु. अनुदान दिया था ,ऐसे ब्रिटेन ,जर्मनी ,इटली आदि देशों द्वारा अरबों का अनुदान दिया गया था ।
केंद्र और राज्य सरकारों द्वारा प्रतिवर्ष 1000 करोड़ रु. दिये जाते हैं ।और इस राशि को राष्ट्रविरोधी कार्यों में लगाते ।
तत्कालीन प्रधानमंत्री मनमोहन सिंह ने भी कहा था कि कुडनकूलम परमाणु परियोजना का विरोध करने वाले राष्ट्रविरोधी हैं ।
केंद्र की मोदी सरकार द्वारा सभी NGO की निगरानी करने के लिये उच्चस्तरीय समिति भी बनाई है जो विदेशों से मिलने वाले धन पर नजर रखेगी ।
मात्र 2% NGO ही विदेशों से मिलने वाले धन का लेखा-जोखा सरकार को देते हैं ...

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