इंडिया संवाद के पास दस्तावेज़, चिदंबरम ही नहीं, शिंदे ने भी छुपाया इशरत के आतंकी होने का सच !
कांग्रेस के दो दो गृहमंत्री इशरत जहाँ के सच को देश से छिपाना चाहते थे. ओउखता दस्तावेजों से पहली बार ज़ाहिर हुआ है की UPA-2 सरकार के गृह मंत्री पी चिदंबरम और उनके उतराधिकारी सुशिल कुमार शिंदे दोनों ने इशरत के असली चेहरे पर पर्दा डाला था.
इंडिया संवाद को मिले दस्तावेज़ साबित करते हैं की शिंदे ने NIA के अफसर लोकनाथ बेहेरा को इशरत के बारे में सच बोलने की अनुमति नहीं दी. लोकनाथ बेहरा और उनके सहयोगियों ने अमेरिकी आतंकवादी डेविड कोलेमन हेडली से शिकागो जाकर पूछताछ की थी. हेडली ने बताया था की इशरत पाकिस्तानी आतंकी संगठन लश्कर ऐ तोइबा के लिए काम करती थी.दस्तावेज़ बताते हैं की जब इशरत जहाँ एनकाउंटर की जांच कर रही सीबीआई ने लोकनाथ बेहरा के बयान दर्ज कराने चाहे तो गृह मंत्रलाए ने मना कर दिया. इस सिलसिले में NIA के ADG एन आर वासन ने सीबीआई के डायरेक्टर के पत्र संख्या CBI 104/5(S)2011 SCB Mumbai का हवाला देते हुए तत्कालीन गृह सचिव अनिल गोस्वामी को चिठ्ठी लिखी थी . वासन ने गृह मंत्रलाए से इज़ाज़त मांगी थी कि इशरत के बारे में सीबीआईलोकनाथ बेहेरा से जानकारी चाहती है लिहाजा इस मामले में निर्देश दिए जाएं.सूत्रों के मुताबिक शिंदे के कहने पर गृह मंत्रलाए ने सीबीआई को जानकारी लेने की इज़ाज़त नही दी थी .
फिलहाल इस पूरे मामले के अब सरकार जांच करा रही हैं. शिंदे के अलावा चिदंबरम की भूमिका की भी जांच हो रही है. चिदंबरम ने इशरत जहाँ के आतंकी करार दिए जाने वाले हलफनामे को बदलवा दिया था.
सरकार स्वीकार करती है की इशरत LET की आतंकवादी थी और वह उस वक्त के गुजरात के मुख्यमंत्री नरेंद्र मोदी की हत्या करने आई थी। इसके ठीक 6 सप्ताह के बाद, चिदम्बरम दूसरी एफिडेविट पर दस्खत करके इशरत जहाँ को इन तमाम बातो से अलग कर देते है, उसको शहीद बनाकर, जिसकी हत्या के लिए हत्यारे आये थे उसे फेक एनकाउंटर में फ़सा कर राजिनैतिक हत्या करने की व्यूह रचना करते है।IshratFile : मोदी की बर्बादी के लिए सोनिया की थी चाल
बीजेपी ने आरोप लगाया कि कांग्रेस इस मामले का इस्तेमाल करके नरेन्द्र मोदी को उखाड़ फेंकना चाहती थी। कांग्रेस अध्यक्ष सोनिया गांधी सक्रिय तौर इस काम में लगी हुई थी।
केन्द्रीय मंत्री निर्मला सीतारमण ने कहा कि कांग्रेस खासतौर पर सोनिया गांधी और उनके बेटे राहुल गांधी को इस मामले की जिम्मेदारी लेनी चाहिए, क्योंकि चिदंबरम ने जो कुछ किया, वो इसलिए किया, क्योंकि कांग्रेस राजनीतिक तौर पर मोदी का मुकाबला नहीं कर पा रही थी।
बीजेपी ऑफिस में हुई प्रेस कॉन्फ्रेंस में निर्मला सीतारमण ने कहा कि कांग्रेस के नेताओं ने एक आतंकी साजिश को हल्के में लिया ताकि मोदी को बर्बाद किया जा सके। उस वक्त सत्ता में रहते हुए कांग्रेस ने वो सब किया जो कुछ संभव था और उनके हाथ में था। कांग्रेस चाहती थी कि एक वर्ग के बीच इस मामले को कुछ इस तरह से पेश किया जाए कि मोदी के खिलाफ कोई आतंकी साजिश नहीं थी और इशरत जहां का एनकाउंटर फर्जी था।
इन 6 हफ़्तों में ऐसा क्या हुआ जिसमे एक हत्यारी को शहीद और जिसकी हत्या होनी थी उसे मुल्ज़िम बनाया गया?
यह बात साफ़ होती जारही है की 10 जनपथ के बिना इशारे के वो दूसरा एफिडेविट नही आसकता था और जो बात लोग अभी नही कह रहे है वह आगे के साल में कहने लगेंगे। मेरा आंकलन है की नरेंद्र मोदी की बढ़ती लोकप्रियता और भविष्य में केंद्र की राजीनीति में सशक्त उम्मीदवार की संभावना को देखते हुए मुस्लिम भावनाओ को वोट में बदलने के लिए कांग्रेस के प्रमुख नेता ने LET को मोदी की हत्या की सुपाड़ी दी थी। इसकी जानकारी 10 जनपथ को उस वक्त थी या नही यह अभी कोई नही कह सकता लेकिन जब हत्या के प्रयास को नकाम कर दिया गया तब पहली एफिडेविट के बाद, उस कांग्रेस के प्रमुख नेता ने 10 जनपथ को भरोसे में लेते हुए, राहुल गांधी के प्रधानमन्त्री पद के रास्ते को निष्कंटक बनाने के लिए हत्यारों को शहीद और हत्या के निशाने की राजिनैतिक हत्या का षणयंत्र रचा था।
सोनिया गांधी ही एक शख्स थी जिनको इस षणयंत्र से सबसे ज्यादा फायदा था। सोनिया का इसमें शामिल हो जाने से, उस कांग्रेस के नेता की भी बचत थी जिसने मोदी की हत्या के लिए सुपाड़ी दी थी। एक बार जब सोनिया गांधी के निर्णय को जामा पहनने का निर्णय ले लिया गया तब दूसरे एफिडेविट के साथ ही मिडिया, मानवाधिकार संघटन और जेएनयू के ISI स्लीपर सेल और सोनिया गांधी के दरबार में सजदा करने वाले राजिनतिज्ञों, पत्रकारो, एनजीओ और मानवाधिकार संघटनो ने इशरत जहां के शहीद और नरेंद्र मोदी की गुजरात सरकार को हत्यारा बताने की कहानी, भारत की जनता को 24 घण्टे सुनाने का कार्यक्रम शुरू कर दिया गया था।
इशरत जहाँ के एनकाउंटर की कहानी, नरेंद्र मोदी की हत्या के लिए 10 जनपथ के करीबी कांग्रेस के नेता द्वारा LET को दी गयी सुपाड़ी की कहानी को दफन करने की कहानी है।
चिदम्बरम से शुरू कहानी अभी शायद 1 साल और चलेगी और इस षणयंत्र के मुख्य किरदार साल भर और सांस ले सकते है। कांग्रेस और उसके सहयोगियों ने राजीनीति के फायदे के लिए मोदी की हत्या के लिए आयी इशरत जहाँ एक आतंकी को शहीद बनाया था और अब इशरत जहाँ के आका LET को, मोदी की हत्या की सुपाड़ी देने और बाद में उस षणयंत्र में शामिल लोगों का खुलासा भी राजीनीति के लिए ही होगा।
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