पार्टी में अंदरूनी लोकतंत्र:
'आप' के नेता कैप्टन गोपीनाथ, मल्लिका साराभाई, विनोद कुमार बिन्नी और टीना शर्मा ने पार्टी पर बंद कमरों में फैसले लेने का आरोप लगाया है।
भाई-भतीजावाद:
विनोद कुमार बिन्नी पर मनीष सिसोदिया को तरजीह, शाजिया इल्मी, कुमार विश्वास पर आरोपों के बाद भी पार्टी उन्हें टिकट देने को तैयार है। क्या केजरीवाल 'आप' में अलग तरह से भाई-भतीजावाद चला रहे हैं?
भ्रष्टाचार पर नरम रुख:
दिल्ली में सरकार बनाने के बाद केजरीवाल शीला दीक्षित पर अप्रत्याशित रूप से नरम पड़ गए हैं। सरकार बनाने से पहले बड़े-बड़े घोटालों का खुलासा करने वाले केजरीवाल घोटालों पर अचानक चुप क्यों हो गए हैं?
आरोपों पर नहीं होता एक्शन :
भ्रष्टाचार व अन्य मामलों में सिर्फ आरोपों को आधार बना कर कांग्रेस-भाजपा नेताओं से इस्तीफे मांगने वाली 'आप' अपने नेताओं पर यह फार्मूला लागू नहीं कर रही है। स्टिंग में फंसे अपने किसी नेता पर 'आप' ने एक्शन नहीं लिया। केजरीवाल सोमनाथ भारती के बचाव में खुद आ गए हैं। धार्मिक भावनाएं भड़काने वाले कुमार विश्वास के बयान पर भी केजरीवाल कुछ खास नहीं बोले।
वोट बैंक की पॉलिटिक्स:
बरेली के नेता तौफीक रजा से मुलाकात के बाद केजरीवाल की आलोचना हुई थी। हाल में उनसे खाप, नक्सलवाद पर प्रश्न पूछे गए, जिन्हें वह टाल गए। पार्टी के नेता योगेंद्र यादव आरक्षण की बात करते भी दिखे, तो क्या पार्टी वोट बैंक की पॉलिटिक्स कर रही है?
'आप' के नेता कैप्टन गोपीनाथ, मल्लिका साराभाई, विनोद कुमार बिन्नी और टीना शर्मा ने पार्टी पर बंद कमरों में फैसले लेने का आरोप लगाया है।
भाई-भतीजावाद:
विनोद कुमार बिन्नी पर मनीष सिसोदिया को तरजीह, शाजिया इल्मी, कुमार विश्वास पर आरोपों के बाद भी पार्टी उन्हें टिकट देने को तैयार है। क्या केजरीवाल 'आप' में अलग तरह से भाई-भतीजावाद चला रहे हैं?
भ्रष्टाचार पर नरम रुख:
दिल्ली में सरकार बनाने के बाद केजरीवाल शीला दीक्षित पर अप्रत्याशित रूप से नरम पड़ गए हैं। सरकार बनाने से पहले बड़े-बड़े घोटालों का खुलासा करने वाले केजरीवाल घोटालों पर अचानक चुप क्यों हो गए हैं?
आरोपों पर नहीं होता एक्शन :
भ्रष्टाचार व अन्य मामलों में सिर्फ आरोपों को आधार बना कर कांग्रेस-भाजपा नेताओं से इस्तीफे मांगने वाली 'आप' अपने नेताओं पर यह फार्मूला लागू नहीं कर रही है। स्टिंग में फंसे अपने किसी नेता पर 'आप' ने एक्शन नहीं लिया। केजरीवाल सोमनाथ भारती के बचाव में खुद आ गए हैं। धार्मिक भावनाएं भड़काने वाले कुमार विश्वास के बयान पर भी केजरीवाल कुछ खास नहीं बोले।
वोट बैंक की पॉलिटिक्स:
बरेली के नेता तौफीक रजा से मुलाकात के बाद केजरीवाल की आलोचना हुई थी। हाल में उनसे खाप, नक्सलवाद पर प्रश्न पूछे गए, जिन्हें वह टाल गए। पार्टी के नेता योगेंद्र यादव आरक्षण की बात करते भी दिखे, तो क्या पार्टी वोट बैंक की पॉलिटिक्स कर रही है?
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