Saturday, 22 September 2018

यहूदियों ने
मदीना में मोहम्मद को दी थी शरण
सिर्फ 5 साल में मदीना से यहूदियों को साफ़ कर दिया गया
-- मधु किश्वर
,,,,,,,,,,,,,,,,,,,,,,,,,,,,,,,,,,,,,,,,,,,,

 शोनार बांग्ला..?
,प.बंगाल जिसे लोग मोमता-दी का बांग्लादेश कहते हैं...वहाँ आधिकारिक मोमिन आवादी 28-30 प्रतिशत कही जाती है,लेकिन असल मे यह 35-40 प्रतिशत से ज़्यादा है...जब तक कम्युनिस्ट राज करते रहे... प.बंगाल को बांग्लादेशी अभ्यारण्य बनाते रहे...बची-खुची कसर ममता बनर्जी ने पूरी कर दी...बंगाल और असम तो वो गेट हैं जिनसे घुसकर बांग्लादेशी घुसपैठिए पूरे देश मे फैल गए हैं...
अब अधिकांश के पास नागरिकता प्रमाणित करने के सभी दस्तावेज हैं...इनका अनेक व्यवसायों और अनेक श्रमिक कार्यों पर पूर्ण कब्ज़ा हो चुका है...अनेक के पास तो भारतीय पासपोर्ट तक पाए जाते हैं...संपत्ति-संपदा है...भारतीय महिलाओं से विवाह भी किये हैं...प्रजनन क्षमता चूहों,सुअरों और दीमक से भी ज़्यादा है... रोहिंज्ञाओं को जोड़ लें तो 15-20 साल बाद भारत के मालिक यही लोग होंगे...हिन्दू कहाँ रहेगा ? क्या खाएगा ? हिंदुओं की लगभग सारी प्रोपर्टी छीनी जा चुकी होगी ! मंदिरों के ऊपर गुम्बदें और...मीनारें होंगी...पार्लियामेंट और देश की सभी विधान सभाओं में बड़ी-बड़ी मस्जिदे होंगीं...
उदाहरण के लिए पिछले साल कोलकाता के काली मंदिर ट्रस्ट के अध्यक्ष पद पर राज्य सरकार के एक मुस्लिम मंत्री की नियुक्ति हुई है...मंदिर संचालन,मंदिर प्रोपर्टी और मंदिर के खजाने पर मुस्लिम मंत्री काबिज़ हो गया... शिकायत करने गए हिंदुओं को ममता बनर्जी ने दौड़ा लिया...मोहर्रम पर विसर्जन नहीं...रात दस बजे के बाद गणेश -दुर्गा पंडाल बन्द करने के आदेश हैं....आज भी एक पंडाल में गाय के अवशेष डाल कर अपवित्र कर दिया गया...दुर्गा और गणेश प्रतिमायें तो साल भर अब तोड़ी जाती हैं,बंगाल में ! हिंदु भी अब ज़्यादा बुरा भी नही मानते क्योकि उन्होंने इसे अपनी नियति मान लिया है....राज्य में सिर्फ उर्दू शिक्षकों की नियुक्तियां होने का रिवाज है...शेष नौकरियों में उर्दू जानने वालों को प्राथमिकता दी जा रही है !!
Pawan Saxena
,,,,,,,,,,,,,,,,,,,,,,,,,,,,,,,,,,,,,,,,,,,,,,,,
#मिस्र - मिस्र ने 24 राफेल विमान, 1750 करोड रुपए प्रति विमान के हिसाब से 42 हजार करोड रुपए में खरीदे.
#कतर - कतर ने 24 राफेल विमान 2083 करोड़ रुपए प्रति विमान के हिसाब से कुल 50 हजार करोड़ रुपए में खरीदे.
#भारत - भारत ने 36 राफेल विमान कुल 1611 करोड रुपए प्रति विमान के हिसाब से कुल 58 हजार करोड रुपए में खरीदे.
इस प्रकार भारत ने अन्य देशों के मुकाबले, सस्ती कीमत पर फ्रांस से राफेल विमान खरीदे हैं. इसलिए कांग्रेस फिजूल ही मोदी सरकार को बदनाम कर रही है.
,,,,,,,,,,,,,,,,,,,,,,,,,,,,,,,,,,,,,,,,,,,,,,,

कॉलेजियम  से बने  जज... हिंदुओं से  दिक्कत 
एक एनजीओ है जिसका नाम है आवाज फाऊंडेशन ..उसे एक मुस्लिम सुमेरा अब्दुल अली चलाती हैं  इनके NGO के सदस्य जगह-जगह पंडालों के पास डेसिबल मीटर खड़े होकर रिकॉर्डिंग करते हैं और फिर मुंबई हाईकोर्ट में जाकर बताते हैं कि यह देखिए फलाना जगह आवाज का स्तर इतना ज्यादा है लोग बहरे हो जाएंगे लोगों को सुनाई देना बंद हो जाएगा और वामपंथी विचारधारा के ये जज  तुरंत इस पर फैसला सुना देते हैं
अभी मुंबई हाई कोर्ट ने आदेश दिया है कि जो भी गणेश पांडाल ज्यादा आवाज फैलाएगा उसके साजोसामान सामान जप्त कर लिए जाएंगे .   आजादी के बाद से लेकर अब तक सिर्फ 400 परिवारों के जज ही देश के विभिन्न हाईकोर्ट और सुप्रीम कोर्ट में जज बने हैं, .मस्जिदों में बीसों लाउडस्पीकर लगाकर बेहद तेज आवाज में दिन में 5 बार अजान दिया जाता है वह भी सुबह के 4:30 बजे जब आदमी गाढ़ निद्रा में सोता रहता है।



,,,,,,,,,,,,,,,,,,,,,,,,,,,,,,,,,,,,,,,,,,,,,,,,,,,,

मार्क्सवादी इतिहासकारों के प्रपंच को उजागर करती नीरज अत्री और मुनीश्वर सागर की ऐतिहासिक किताब ‘BRAINWASHED REPUBLIC’
....
हमारे देश में स्कूली बच्चों का इतिहास के माध्यम से शुरू से ब्रेनवाश करने की कोशिश की गई है। स्वतंत्रता के बाद से भारतीय अकादमिक संस्थाओँ पर मार्क्सवादियों के बर्चस्व के कारण उसी वर्ग के लेखकों को आधिकारिक इतिहासकार माना गया। जबकि सच्चाई ये है कि सरकारी संरक्षण प्राप्त ये लेखक इतिहास की किताबें लिखी नहीं हैं बल्कि उसकी रचना की है। इस लिहाज से उन्होंने तथ्यात्मकता को कभी तरजीह दी ही नहीं। उन्होंने कहानीनुमा किताबों की रचनाकर अपने संरक्षक को खुश किया। उस समय की सरकार तथा इतिहासकारों का प्रपंच आज भी तथ्यात्मक चूक के रूप में विद्यमान है।

No comments:

Post a Comment