Monday, 8 January 2018



हिंदू_संगठन_हिंदूओं_के_बेरोजगारी
दुर_करने_के_लिए_आगे_आएं

....आज हिंदुओं के सारे परंपरागत ब्यापार एवं रोजगार पर मुसलमानों का कब्जा होता जा रहा है जिसके कारण हिंदुओं में बेरोजगारी दर बढ़ता जा रहा है। मोटर गैराॅज पर तो मुसलमानों का एकाधिकार कब्जा हो गया है।मूर्तिकार कभी  कुम्हार हुआ करते थे आज मुसलमान गढ रहे हैं। कपड़े सिलने वाला दर्जी तो बाल बनाने वाला नाई फूल बेचने वाला माली, चप्पल-जूते बेचने वाला चम $ भी हमारे समाज के बिच का ब्यक्ति होता था लेकिन अब यह रोजगार तेजी से दुसरे समाज के लोग भी अपनाते जा रहे हैं।देश के लघु और कुटीर उद्योग जैसे पतंग बनाना,चुङी बनाना ,कपड़ा बुनना,जूते-चप्पल बनाना और छोटे-मोटे मशीनरी समान बनाना आदी पर 60 प्रतिशत मुसलमानों का एकाधिकार हो गया है.... हिंदुओं के परम्परागत रोजगार तेजी से दुसरे लोग अपना रहे है जिसका परिणाम यह हो रहा है कि हमारे हिंदू भाई बेरोजगार होते जा रहे है।
अतः तमाम हिंदू संगठन ,धर्मगुरू और देश के समृद्ध मंदिर प्रशासन हिंदुओं के आर्थिक स्थिती सुधारने का प्रयास करे  इसके लिए प्रशिक्षण शिविर लगाएं,धर्मगुरू भी इस कार्य मे सहयोग दे और हमारे तमाम समृद्ध मंदिर बैंक में अपने पूंजी जमा करने के बजाए हिंदुओं को एक प्रतिशत ब्याज के दर पर कर्ज देना शुरू करे तो हिंदूओ में बेरोजगारी दर काफी हद तक कम हो जाएगी।जब सारा बहुसंख्यक समाज समृद्ध हो जाएगा तो देश फिर से सोने की चिड़िया कहलाने लगेगी।

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