Friday, 20 July 2018

mediya

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भारत की मुख्य समस्या यह है कि राजनीति मे देशभक्तों का कोई भी प्रबल समूह सक्रिय नहीं है .यह बहुत गंभीर दशा है और नया दल बनाना इसका उपाय नहीं है . समाज मे तेजस्विता जगाना इसका उपाय है.
आप देखिएं , प्रचण्ड देशभक्ति और धर्म निष्ठां की बात मानो वातावरण से लुप्त है . स्वयम देशभक्त संगठन केवल चालाकी , कूटनीति रणनीति आदि ही बतियातें हैं
एक भी उच्च विद्या केंद्र हिन्दुओं ने १९४७ के बाद नहीं बनाया ,इसलिये यह दशा है .
दल बननेसे कुछ भी नही होगा .
दल एक नकली चीज है . समाज असली है , जाति , गाँव , खाप , सम्प्रदाय आदि असली हैं असली के स्तर पर काम का फल होता है
रामेश्वर मिश्र पंकज
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वर्ष 2014 में नरेन्द्र मोदी के द्वारा कांग्रेस को बहुत बुरी तरह परास्त करने के बाद ....हमेशा सत्ता में रहने की आदी तथा भारत की सत्ता और जनता को अपनी चौखट की गुलाम लौंडी समझने का स्वभाव रखने वाला नेहरु गांधी परिवार तथा कांग्रेस एवं उसके साथी अन्य राजनैतिक दल बहुत बुरी तरह बौखलाए हुए है ....सत्ता के बिना जल बिन मछली जैसे तड़प रहे इन अपराधी लुटेरे गिरोहों की मानसिक हालत पागलो जैसी हो चुकी है ...............लेकिन फिर भी इनके अन्दर का अपराधी तत्व जरा भी कमजोर नही हुआ ...................आखिर कोई अपना मूल स्वभाव छोड़ भी कैसे सकता है ......................
भारत की आम जनता द्वारा कांग्रेस और उसके सहयोगियों को देश की सत्ता से बाहर फेक देने के बाद कांग्रेस ने "Tripple C" की नई रणनीति अपनाई है और वो है..
पहले देश की जनता को अपने झूठ , मक्कारी , धूर्तता , अफवाहो से Convince करो..
अगर वो Convince ना हो तो उसे किसी भी प्रकार से Confuse करो
और अगर Confuse भी न हो तो उसे Cheat करो ...........अगर आप इस तथ्य को बारीकी से चैक करना चाहते है तो वर्ष 2014 से अब तक के दौर में नेहरु गांधी परिवार तथा उसके समर्थक दलों के आचरण को चैक कर लीजिये !#पवन_अवस्थी

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